pearly penile papules on glans treatment
पर्ली पेनाईल पैप्युल्स (पीपीपी) लिंग पर होने वाले दाने हैं जो कई अलग-अलग रूपों में विकसित हो सकते हैं, ये गुंबद आकार से लेकर फिलीफोर्म (धागे जैसी रचनाओं से बना) के जैसे विकसित हो सकते हैं। ये दाने विशेष रूप से शिश्नमुंड के शुरुआती भाग पर विकसित होते हैं। ये शिश्नमुंड के एक तरफ या फिर चारों ओर विकसित हो जाते हैं और अक्सर इन्हें कोई यौन संचारित रोग समझ लिया जाता है। लिंग पर होने वाले इन दानों को एक आम स्थिति माना जाता है और ये यौन संचारित रोगों से संबंधित नहीं होते हैं। अक्सर लिंग पर दाने होने के कारण व्यक्ति को गंभीर चिंता हो जाती है, जब तक उन्हें यह पता नहीं चल जाता कि ये दाने किसी प्रकार से हानिकारक नहीं हैं।
लिंग पर दाने होना क्या है - #What is Pearly penile papules in Hindi
लिंग पर दाने होना क्या है?
इसे अंग्रेजी भाषा में पर्ली पेनाईल पैप्युल्स (पीपीपी) या हरसुटोइड पैपिलोमा कहा जाता है, यह शिश्नमुंड के शुरुआती हिस्से में दानों के रूप में बढ़ी हुई अतिरिक्त त्वचा होती है। यह बढ़ी हुई त्वचा पूरी तरह से कैंसर रहित होती है। इनका रंग हल्का गुलाबी या सफेद हो सकता है या फिर कुछ दुर्लभ मामलों में ये हल्के पारदर्शी भी हो सकते हैं। इनकी चौड़ाई लगभग 1-2 मिमी और लंबाई 1-4 मिमी हो सकती है। हालांकि लिंग के दानों का आकार, आकृति और रंग हर व्यक्ति में अलग-अलग भी देखा जा सकता है, लेकिन ज्यादातर मामलों में ये सभी में एक समान ही दिखाई पड़ते हैं। लिंग के दाने आमतौर पर शिश्नमुंड के चारों ओर एक या दो पंक्तियों के रूप में विकसित होते हैं।
लिंग पर दाने होने के लक्षण - Pearly penile papules Symptoms in Hindi
लिंग पर दाने होने के लक्षण क्या हैं?
पर्ली पेनाईल पैप्युल्स से किसी प्रकार के लक्षण पैदा नहीं होते हैं और जब एक बार ये विकसित हो जाते हैं, तो बाद में इनके आकार में किसी प्रकार का बदलाव नहीं आता है। ये लिंग के किसी अन्य भाग में भी नहीं फैलते। लिंग पर दाने न तो संक्रामक होते हैं और ना ही इनसे दर्द होता है। इनका कोई विशेष लक्षण तो नहीं होता, लेकिन इसमें निम्न संकेत देखे जा सकते है:
लिंग पर छोटे-छोटे दाने बनना
बने हुऐ दाने बहुत मुलायम होना
पर्ली पेनाईल पैप्युल्स के कारण - #Pearly penile papules Causes in Hindi
पर्ली पेनाईल पैप्युल्स क्यों होता है?
शिश्नमुंड पर विकसित होने वाले दानों को कई बार किसी यौन संचारित रोग का लक्षण समझ लिया जाता है या फिर व्यक्ति इसे साफ-सफाई न रखने का कारण समझने लगते हैं। अभी तक इस स्थिति से जुड़े किसी बाहरी कारण का पता नहीं लग पाया है। पर्ली पेनाईल पैप्युल्स किसी प्रकार के संक्रमण या फिर अन्य किसी अंदरुनी बीमारी के कारण नहीं होता। इन दानों में ना कोई विषाक्त पदार्थ होता और न ही ये संक्रामक होते हैं। अभी तक इसके सटीक कारण का पता नहीं लग पाया है।
“द अमेरिकन यूरोलॉजिकल एसोसिएशन” का मानना है कि ये दाने व्यक्ति की भ्रूण अवस्था के दौरान ही विकसित होते हैं, जब वह गर्भ में होता है। हालांकि अभी तक इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार पर्ली पेनाईल पैप्युल्स एक सामान्य शारीरिक स्थिति है
लिंग पर दाने होने के बचाव - # Prevention of Pearly penile papules in Hindi
लिंग पर दाने होने से बचाव कैसे किया जा सकता है?
अभी तक लिंग के अगले सिरे पर होने वाले दानों की रोकथाम करने का कोई संभव तरीका नहीं मिल पाया है। ये जीवनशैली संबंधी किसी बदलाव या बुरी आदत के कारण नहीं होते हैं। लेकिन इनके मामले उन पुरुषों में अधिक आम होते हैं, जिन्होनें खतना नहीं करवाया होता है। खतना करवाने से शायद लिंग पर दाने होने से बचाव किया जा सकता है, हालांकि इस बात की भी गारंटी नहीं है कि खतना करवाने से निश्चित रूप से पर्ली पेनाईल पैप्युल्स विकसित होने से रोकथाम की जा सकती है।
दानों का आकार 1 से 4 मिलीमीटर तक होना
शिश्नमुंड के शुरुआती हिस्से में एक या दो पंक्तियों में विकसित होना
पर्ली पेनाईल पैप्युल्स की ही तरह कुछ अन्य स्थितियां भी हैं, जिनमें लिंग पर दाने विकसित होने लगते हैं। इनमें से एक है “फॉरडाइस स्पॉट”, इस स्थिति में भी लिंग पर होने वाले दाने हानिकारक नहीं होते हैं। फॉरडाइस स्पॉट में होने वाले दाने अधिक फैले होते हैं और 1 से 100 दाने तक विकसित होते हैं।
Category
Show more
Comments - 2
Related videos for Pearly penile papules on glans treatment in hindi pearly penile papules treatment in hindi: